
bhoothnath said...
bhoothnath said...
सारे प्रश्नों का जवाब मेरी समझ से एक ही है....वो है....भारत के इन कतिपय नेताओं.....नौकरशाहों.....और तमाम प्रकार के "देशद्रोहियों" टाइप के लोगों को सड़क पर नंगा करके इतने कौड़े..... इतने कौड़े......मारो की उनको नानी...दादी.....लक्कार्दादी....सब के सब याद आ जायें....हम सब भारतीयों को असल में अपने चरित्र की बाबत नए सिरे से सोचने की जरुरत है.....एक देश को मिसाल बनाने के लिए पहले तो ख़ुद को मिसाल बनना पड़ता है.....नेता हमारा ही तो आईना हैं....यानि नेता हम ख़ुद ही तो हैं.....ऐसा लगता है कि हम वहाँ होते तो ये करते मगर किसी भी सही जगह पर पहुँच कर हम भी वाही करने लगते हैं....जो नेता...अफसर...और एनी सरकारी लोग करते हैं....आम जीवन में भी कौन सा हम मिसाल वाला सामान्य सा काम करने की चेष्टा करते हैं.....!!??
2 टिप्पणियां:
बहुत खूब...आज नहीं तो कल ये होने ही वाला है...सहन करने की एक सीमा होती है...
नीरज
हम सब भारतीयों को असल में अपने चरित्र की बाबत नए सिरे से सोचने की जरुरत है.....
" ya very well said, its requirted now.."
Regards
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